कंधमाल जिले के दारिंगबाड़ी के एक आवासीय स्कूल में आठवीं की छात्रा के एक बच्चे को जन्म देने घटना के बाद राज्य सरकार पूरी तरह से जाग उठी है। भविष्य में इस तरह की घटनाओं पर पाबंदी लगाने के लिए राज्य सरकार एक बड़ा कदम उठाने जा रही है। छात्र-छात्राओँ की सुरक्षा के लिए राज्य के करीब एक हजार स्कूलों में सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे। सोमवार को इस बारे में पत्रकारों के साथ बातचीत करते हुए राज्य के आदिवासी कल्याण मंत्री रमेश माझी ने यह बाते कही है। उन्होंने कहा कि इस घटना के खिलाफ राज्य सरकार ने कड़ी कार्रवाई की है। 6 लोगों को बहिष्कार करने के साथ 4 लोगों को निलंबित की गई है। साथ ही छात्र-छात्राओँ की सुरक्षा के लिए एक हजार स्कूलों में सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे। माझी ने कहा कि सबसे पहले सरकार बालिका विद्यालय में कैमरे लगाएगी।
वहीं दूसरी ओर से इस घटना पर राज्य सरकार को कांग्रेस ने आड़े हाथों लेते हुए कहा कि इस घटना के लिए विभागीय मंत्री जिम्मेदार हैं। पीसीसी अध्यक्ष निरंजन पटनायक ने कहा कि यह काफी दुखद घटना है। इसके लिए जिम्मेदार इस विभाग के मंत्री खुद हैं। राज्य में शासन नाम का कोई चीज नहीं है। उन्होंने कहा कि नैतिकता के आधार पर आदिवासी कल्याण मंत्री रमेश माझी को तुरंत अपने पद से इस्तीफा दे देना चाहिए।
उल्लेखनीय है कि कंधमाल जिले के दारिंगबाड़ी के एक आवासीय स्कूल में आठवीं की छात्रा ने एक बच्चे को जन्म दिया था। यह खबर फैलते ही स्थानीय लोग भड़क गए और उन्होंने जांच की मांग करते हुए एनएच-59 जामकर दिया।
बताया गया है कि उक्त नाबालिग बच्ची को बालीगुड़ा अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उसके नवजात और उसकी स्थिति ठीक है।