छत्तीसगढ़ सरकार के प्रयास और फोर्स की रणनीति के कारण प्रदेश में लाल आतंक बैकफुट पर हैं। नक्सली बड़ी संख्या में सरेंडर कर रहे हैं। वहीं दूसरी ओर जो नक्सली फोर्स की कार्रवाई से डरकर जंगलों में छिपे बैठे हैं,उन्हें भी फोर्स उनके अंजाम तक पहुंचा रही है। इसी कड़ी में लोन वर्राटू (घर वापस आईये) अभियान से प्रभावित होकर छह नक्सलियों ने सरेंडर किया। जिनमें से तीन इनामी नक्सली हैं। इन पर 13 लाख रुपए का इनाम था। सरेंडर करने वाले नक्सलियों में महिला नक्सली शांति मंडावी कंपनी नंबर 6 सदस्य भी है।जिन पर 8 लाख का इनाम घोषित है।
सरेंडर करने वाले नक्सलीः
1.शांति मण्डावी पति स्व0 मोहन मण्डावी-कंपनी नम्बर 06 की सदस्या- इनामी 08 लाख
2.सुखराम उर्फ बादल मरकाम पिता धामा उत्तर सब जोनल सदस्य इनामी 03 लाख
3.प्रकाश उर्फ चिन्ना सोढ़ी बैयमपल्ली आरपीसी सीएनएम अध्यक्ष इनामी 02 लाख
4.मुकेश उर्फ कमलू सुण्डाम पिता मंगडू सुण्डाम बैयमपल्ली आरपीसी जनताना सरकार उपाध्यक्ष 5.मुचाकी सन्नी पति मुचाकी अर्जुन बुरगुम आरपीसी केएएमएस सदस्य
6.जोगा मुड़ाम पिता स्व0 भीमा मुड़ाम ग्राम परलागट्टा संघम सदस्य
दंतेवाड़ा एसपी गौरव राय, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक रामकुमार बर्मन के मार्गदर्शन में चलाये जा रहे नक्सल उन्मूलन लोन वर्राटू (घर वापस आईये) अभियान और सरकार की पुनर्वास नीति से नक्सली प्रभावित हो रहे हैं। लगातार बड़े नक्सली लीडर सहित मुख्य धारा से भटके युवा समाज की मुख्य धारा में जुड़ने का संकल्प लेकर आत्मसमर्पण कर रहे हैं।सरेंडर करने वाले नक्सलियों की माने तो खोखली विचारधारा, शोषण, अत्याचार और स्थानीय आदिवासियों पर होने वाले हिंसा से तंग आकर उन्होंने समाज की मुख्य धारा में लौटने का फैसला किया है।