ओडिशा के उपमुख्यमंत्री कनक वर्धन सिंहदेव ने बुधवार को बताया कि चार बिजली वितरण कंपनियों (डिस्कॉम) पर ओडिशा सरकार का 6,587 करोड़ रुपये बकाया है।
राज्य विधानसभा में अपने बयान में सिंहदेव, जो ऊर्जा विभाग का प्रभार भी संभालते हैं, ने बताया कि चारों कंपनियों में से सीईएसयू पर सबसे अधिक 2,651 करोड़ रुपये बकाया है।
इस बीच, नेस्को ने 951 करोड़ रुपये, वेस्को पर 1,677 करोड़ रुपये और साउथको पर राज्य का 1,300 करोड़ रुपये बकाया नहीं चुकाया है।
गौरतलब है कि ये सभी बिजली वितरण कंपनियां अब टाटा पावर के अधीन हैं, जो अब सीईएसयू को टीपीसीओडीएल, नेस्को को टीपीएनओडीएल, वेस्को को टीपीडब्ल्यूओडीएल और साउथको को टीपीएसओडीएल के रूप में चलाती है।
हालांकि, उपमुख्यमंत्री ने कहा कि ग्रिडको टाटा पावर के नए प्रबंधन के साथ इन बकाया राशियों को सक्रिय रूप से संबोधित कर रहा है और बकाया राशि का निपटान करने के लिए कदम उठा रहा है।
विधानसभा में साझा किए गए चौंकाने वाले आंकड़े राज्य के कई हिस्सों में विभिन्न कथित मुद्दों पर बिजली वितरण कंपनियों के खिलाफ विरोध-प्रदर्शन की कई घटनाओं के मद्देनजर सामने आए हैं।
संयोग से, लगभग दो दिन पहले, भुवनेश्वर के अरबिंदो नगर क्षेत्र के पास एक झुग्गी बस्ती के स्थानीय लोगों ने एक प्रदर्शन किया और बिजली कार्यालय का घेराव किया, जिसमें पिछले पांच दिनों से कथित तौर पर काटी गई बिजली को बहाल करने की मांग की गई थी। मुख्यमंत्री मोहन माझी के हस्तक्षेप के बाद मामला सुलझ गया।